आचार्य मानतुंग कृत भक्ताम्बर स्तोत्र संपूर्ण चित्र,ऑडियो ,अर्थ और यन्त्र सहित
Pictures reference for Bhaktamar Stotra Bhaktamar stotra book translated in Marathi by Muni Shri 108 Akshay Sagarji Maharaj and Published by Shanti Vidya Gyan Sanwardhan Samiti, Sangli To get this book please contact Mahavir Bhaiya – Jaisinghpur 8975541251
आचार्य मानतुंग कृत “भक्तामरस्तोत्रम” दिगंबर जैन विकी द्वारा प्रस्तुत << Previous 1. Stotra 1 to 8 2. Stotra 9 to 16 3. Stotra 17 to 24 4. Stotra 25 to 32 << 5. Stotra 33 to 40 6. Stotra 41 to 48 41. सर्प विष निवारक रक्तेक्षणं समदकोकिलकण्ठनीलं, ऋाधोद्धतं फणिनमुत्कणमापन्तम्। आक्रामति क्रमयुगेन निरस्तशङ्क-स्त्वन्नामनागदमनी हृदि यस्य […]
आचार्य मानतुंग कृत “भक्तामरस्तोत्रम” दिगंबर जैन विकी द्वारा प्रस्तुत > 33. सर्व ज्वर नाशक मन्दारसुन्दरनमेरुसुपारिजात-सन्तानकादिकुसुमोत्कर-वृष्टिरुद्धा, गन्धोदबिन्दुशुभमन्दमरुत्प्रपाता, दिव्या दिवः पतति ते वचसां ततिः र्वा ||३३|| अन्वयार्थ – (गन्धोदबिन्दुशुभमन्दमत्प्रपाता) सुगंधित जल की बूंदों और मन्द मन्द वायुके साथ गिरने वाली (उद्धा) ऊर्ध्वमुखी [च] और (दिव्या) देवकृत (मन्दारसुन्दरनमेरुसुपारिजातसन्तानकादिकुसुमोत्करवृष्टिः) मन्दार, सुन्दर, नमेरु, पारिजात और सन्तानक प्रादि कल्पवृक्षों के फूलों […]
आचार्य मानतुंग कृत “भक्तामरस्तोत्रम” दिगंबर जैन विकी द्वारा प्रस्तुत << Previous 1. Stotra 1 to 8 2. Stotra 9 to 16 << 3. Stotra 17 to 24 4. Stotra 25 to 32 5. Stotra 33 to 40 >> 6. Stotra 41 to 48 Next >> 25. नजर (दृष्टी दोष) नाशक बुद्धस्त्वमेव विबुधाचितबुद्धबोधात्, त्वं शङ्करोऽसि भुवनत्रयशङ्करत्वात्। […]
आचार्य मानतुंग कृत “भक्तामरस्तोत्रम” दिगंबर जैन विकी द्वारा प्रस्तुत << Previous 1. Stotra 1 to 8 << 2. Stotra 9 to 16 3. Stotra 17 to 24 4. Stotra 25 to 32 >> 5. Stotra 33 to 40 6. Stotra 41 to 48 Next >> 17. सर्व उदर पीडा नाशक नास्तं कदाचिदुपयासि न राहुगम्यः, स्पष्टीकरोषि […]
आचार्य मानतुंग कृत “भक्तामरस्तोत्रम” दिगंबर जैन विकी द्वारा प्रस्तुत << Previous << 1. Stotra 1 to 8 2. Stotra 9 to 16 3. Stotra 17 to 24 >> 4. Stotra 25 to 32 5. Stotra 33 to 40 6. Stotra 41 to 48 Next >> 09. सर्वभय निवारक आस्तां तव स्तवनमस्तसमस्तदोषं, त्वत्सङ्कथापि जगतां दुरितानि हन्ति। […]
आचार्य मानतुंग कृत “भक्तामरस्तोत्रम” दिगंबर जैन विकी द्वारा प्रस्तुत 01. सर्व विघ्न उपद्रवनाशक भक्तामर-प्रणत-मौलि-मणि-प्रभाणा-मुद्योतकं दलित-पाप-तमो-वितानम् । सम्यक्-प्रणम्य जिन-पाद-युगं युगादा-वालम्बनं भव-जले पततां जनानाम् ॥१॥ English Pronunciation Bhaktamar pranat maulimaniprabhanam muddyotakam dalita pap tamovitanam. Samyak pranamya jin pad yugam yugada- valambanam bhavajale patataam jananam. English Meaning Having duly bowed down at the feet of Bhagwan Adinath, the […]
You cannot copy content of this page